हर साल हजारों की संख्या में कॉलेज से छात्र इंजीनियर के रूप में अपना करियर शुरू करते हैं, लेकिन उनमें से एक खास इंजीनियर होता है जिसे सेफ्टी इंजीनियर कहते हैं। इसमें करियर बनाना एक जिम्मेदारी भरा काम है, क्योंकि आपका करियर न जाने कितने हज़ारों, लाखों लोगों की जान बचा सकता है। मैं ऐसा इसलिए कह रहा हूँ क्योंकि सेफ्टी इंजीनियर का काम लोगों की सुरक्षा में एक बुनियादी भूमिका निभाता है।
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12वीं के बाद safety engineer कैसे बनें?
सेफ्टी इंजीनियर बनने के लिए क्या पढ़ना जरूरी है?
सेफ्टी इंजीनियर कोर्स कितने साल का होता है?
सेफ्टी इंजीनियर क्या करता है?
सेफ्टी इंजीनियर का काम कार्यस्थल पर सुरक्षा से संबंधित होता है, जिसमें वह कर्मचारियों को सुरक्षा नियमों के बारे में जानकारी देता है और सुरक्षा के इंतजाम करता है। ताकि कर्मचारी काम करते समय दुर्घटनाओं से सुरक्षित रहे और उसे किसी भी प्रकार का नुकसान न हो और चोटें कम लगें, इनका मुख्य कार्य कर्मचारी सुरक्षा को बढ़ावा देना है।
12वीं के बाद safety engineer कैसे बनें?
अगर आपने 12वीं कक्षा पास कर ली है और आप सेफ्टी इंजीनियर के रूप में अपना करियर की शुरुआत करना चाहते हैं तो आपके लिए बेहतर होगा कि आप इससे जुड़ी डिप्लोमा या बीटेक कोर्स करके एक बेहतर और मोटा पैसा देने वाले करियर की शुरुआत कर सकते हैं।
सेफ्टी इंजीनियर बनने के लिए क्या पढ़ना जरूरी है?
- Physics
- Chemistry
- Math’s
सेफ्टी इंजीनियर कोर्स कितने साल का होता है?
फायर और सेफ्टी का कोर्स 2 साल का होता है जिसमें 4 सेमेस्टर में व्यावहारिक प्रशिक्षण के साथ सेमेस्टर के समाप्ति होती है।
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safety engineer कोर्स की फीस क्या है?
सेफ्टी इंजीनियर की कोर्स अलग-अलग कॉलेज में अलग-अलग हो सकती है, लेकिन एक सरकारी आंकड़े के अनुसार सरकारी कॉलेज की फीस ₹30000 से लेकर 10 लाख के बीच होती है. वहीं प्राइवेट कॉलेज की बात करें तो उसकी फीस 20 लाख रुपए से लेकर 25 लाख रुपए तक हो सकती है. इसमें भारत के सभी टॉप कॉलेजे शामिल है।
Safety Engineer Salary
किसी भी नौकरी में आपका अनुभव, ज्ञान की क्षमता के अनुसार पैसा दिया जाता है. लेकिन भारत में एक सुरक्षा इंजीनियर का औसत वेतन की बात करें तो 5 लाख प्रति वर्ष से लेकर 9 लाख प्रति वर्ष तक हो सकता है।